मजबुरी के साथ रेहना और मज़बूरी है इसलिए साथ नहीं रहना फर्क बहोत है बात हो कर भी कुछ न समझना और चुप रह कर भी सब समझना फर्क बहोत है किसीका अपने ख्वाबो में होना और सिर्फ उसीका का ख्वाब होना फर्क बहोत है बुरे वक्त में साथ निभाना और उस वक्त उसके ही साथ होना फर्क बहोत है महोब्बत करना और महोब्बत होना फर्क बहोत है (प्रियंका )
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फर्क बहोत है